कहेगा कहानी जगत
कहेगा कहानी जगत अब उन्हीं की,
परमार्थ में जो समयदान देंगें।
चिन्तन बनायेंगे जो श्रेष्ठ अपना,
समय और साधन का जो दान देंगे।।
चिन्तन में विकृति बहुत बढ़ गई है,
समस्याएँ नूतन नित उठ रही है।
प्रखर प्रज्ञा पुत्रों का सम्मान होगा,
ज्ञान क्रान्ति में जो प्रचुर दान देंगे।।
स्वाध्याय संयम व सेवा बढ़ाओं,
साधक बनो और साधक बनाओ।
सघन साधना शक्ति ही काम देगी,
जो शुचिता सहित ज्ञान दान देंगे।।
शताब्दी पूज्यवर की मनायें, प्रतिभा
व साधन सब मिलकर लगायें।
अनुदान- वरदान उनको मिलेगा,
जो युगधर्म हित आत्म बलिदान देंगे।।